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किसकी अनुमति से लगते हैं खतरनाक झूले कोर्ट

प्रयागराज – इलाहाबाद हाईकोर्ट ने माघ मेला अधिकारी प्रयागराज को तलब करते हुए उनसे यह जानकारी मांगी है कि मेले में जान के लिए खतरनाक झूले किसकी अनुमति से लगाए जाते हैं और अनुमति देने से पूर्व क्या मानदंड अपनाए जाते हैं।

यह आदेश न्यायमूर्ति शेखर कुमार यादव ने बरेली में खरतनाक झूले में करंट से मौत के मामले में आरोपी निसार अली की जमानत अर्जी पर सुनवाई करते हुए दिया है। बरेली में आयोजित मेले में लगे ब्रेक डांस झूले में बिजली के नंगे तारों से करंट लगने से शिवकुमार की मौत हो गई थी। कोर्ट ने अर्जी पर सुनवाई करते हुए कहा कि अक्सर यह देखने में आता है कि आए दिन मेले आयोजित होते हैं और उनमें खतरनाक झूले लगाए जाते हैं।

साथ ही यह शिकायतें भी सुनने को मिलती रहती हैं कि खतरनाक झूलों में बैठने से तेज गति के कारण व्यक्ति बेहोश हो जाते हैं और किसी किसी की मृत्यु भी हो जाती है। प्रयागराज में आयोजित माघ मेला में भी ऐसे खतरनाक झूले लगे हुए हैं। ऐसे में यह जानना आवश्यक है कि ऐसे खतरनाक झूले किसकी अनुमति से लगाए जाते हैं और अनुमति देते समय क्या मानदंड अपनाए जाते हैं। कोर्ट ने इसके लिए माघ मेला अधिकारी प्रयागराज को तलब करते हुए मामले में अगली सुनवाई के लिए पांच फरवरी की तारीख लगाई है

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